शिमला— शिक्षा विभाग व सर्वशिक्षा अभियान की ओर से सरकारी स्कूलों में आयोजित ऑनलाइन परीक्षा में छात्र 50 व 52 से ज्यादा अंक नहीं ले पाए। सर्वशिक्षा अभियान ने स्कूल में आयोजित ऑनलाइन परीक्षा का रिजल्ट निकालने के बाद विश्लेषण किया, जिसमें सामने आया कि अभी भी सरकारी स्कूलों में छात्रों को डिजिटल ढंग से पढ़ाना जरूरी है। उल्लेखनीय है कि पिछले महीने आयोजित इस परीक्षा में प्रदेश भर से 3200 छात्रों ने भाग लिया था। नौवीं व दसवीं कक्षा के छात्रों ने ऑनलाइन मैथ्स व साइंस की परीक्षा दी थी, लेकिन छात्र शिक्षा विभाग की उम्मीदों पर खरा नहीं उतर पाए। शिक्षा विभाग व एसएसए अब छात्रों की लर्निंग आउट स्टडी पर ध्यान देगा व हर वर्ष इस तरह की परिक्षाएं आयोजित करवाई जाएंगी, ताकि कम्प्यूटर पर किस तरह से ऑनलाइन परीक्षा दी जा सकती है, इसके बारे में वे जान भी पाएं व आगे जाकर प्रतियोगी परीक्षाओं का ऑनलाइन सिस्टम भी समझ पाए। शिक्षा विभाग व सर्वशिक्षा अभियान की ओर से आयोजित इस परीक्षा का मकसद यही था कि सरकारी स्कूलों के छात्र भी ऑनलाइन स्टडी सिस्टम समझ सकें। लोगों की मानसिकता सरकारी स्कूलों के प्रति जो बढ़ी है, उसे भी कम किया जा सके। सर्वशिक्षा अभियान के स्टेट प्रोजेक्टर डा. घनश्याम चंद का कहना है कि इस बार छात्रों से ली गई ऑनलाइन परीक्षा में अच्छा रिजल्ट छात्रों से नहीं मिल पाया, लेकिन वे आगे भी परीक्षा जारी रखेंगे। उन्होंने कहा कि इस बार पहली बार छात्रों ने ऑनलाइन परीक्षा दी, इसलीए वे थोड़ा घबरा गए थे, यही वजह रही कि ज्यादा अच्छे नंबर वे इस बार नहीं ले पाए।
प्रदेश के सरकारी स्कूलों में डिजिटल पढ़ाई जरूरी
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