सूजी हुई नसों का इलाज कर रचा इतिहास, लेजर थेरेपी से वैरिकोज वेन्स का उपचार करने वाला प्रदेश का पहला संस्थान बना*

Date:

लेजर थेरेपी से वैरिकोज वेन्स का उपचार करने वाला प्रदेश का पहला संस्थान बना टीएमसी
डा. राजेंद्र प्रसाद राजकीय आयुर्विज्ञान चिकित्सा महाविद्यालय टांडा अस्पताल ने वैरिकोज़ वेन्स के लेजर उपचार में ऐतिहासिक उपलब्धि हासिल की। टांडा मेडिकल कालेज के रेडियोलॉजी विभाग ने वैरिकोज़ वेन्स का लेजर थेरेपी से उपचार कर इतिहास रच दिया है। अभी तक यह वैरिकोज़ वेन्स टांगों की बंद नशों की लेजर थेरेपी तकनीक हिमाचल प्रदेश में उपलब्ध नहीं थी। मरीजों को इसके इलाज के लिए बाहर के राज्यों का रुख करना पड़ता था, जिसके कारण पैसे तथा समय दोनों बर्बाद होते थे। कांगड़ा लंज के 21 वर्षीय रोहन, मस्सल के 48 वर्षीय कमल कुमार, जोगिंदरनगर के 60 वर्षीय दीवान चंद टांगों की नशों के फूलने के कारण पिछले काफी समय से परेशान चल रहे थे, लेकिन उन्हें आशा की किरण दिखाई दी जब पता चला कि एम्स दिल्ली से इंटरवेंशनल रेडियोलॉजिस्ट डा. नीरज कुमार द्वारा टीएमसी रेडियोलॉजी विभाग में 20 सितंबर 25 को ज्वाइन किया है ।
हिमाचल प्रदेश की सार्वजनिक स्वास्थ्य सेवा प्रणाली के लिए एक गौरवपूर्ण क्षण में डा. राजेंद्र प्रसाद सरकारी मेडिकल कालेज (डा. आरपीजीएमसी) टांडा ने वैरिकाज़ नसों के लिए तीन एंडोवेनस लेजर एब्लेशन (ईवीएलए) प्रक्रियाओं को सफलतापूर्वक किया है, जो राज्य में सरकारी क्षेत्र में इस तरह के पहले मामले हैं।

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here

Share post:

Subscribe

spot_imgspot_img

Popular

More like this
Related